
मणिपुर।29 मई 2025, शब्दरंग समाचार:
पूर्वोत्तर सीमांत रेलवे (पूसी रेलवे) ने एक बार फिर भारत का नाम वैश्विक इंजीनियरिंग मानचित्र पर अंकित कर दिया है। मणिपुर के नोनी जिले में स्थित नोनी ब्रिज (ब्रिज संख्या 164) पर गर्डर लॉन्चिंग का कार्य सफलतापूर्वक पूरा कर दुनिया के सबसे ऊंचे रेलवे ब्रिज के निर्माण में एक ऐतिहासिक माइलस्टोन हासिल किया गया है।
141 मीटर ऊंचाई: एक इंजीनियरिंग चमत्कार
नोनी ब्रिज के पी3 और पी4 स्तंभ, जिनकी ऊंचाई 141 मीटर है, इस ब्रिज को विश्व का सबसे ऊंचा रेलवे पुल बनाते हैं। यह पुल भारत की जिरिबाम-इंफाल रेलवे लाइन परियोजना का एक महत्वपूर्ण हिस्सा है, जो मणिपुर की पहाड़ियों में बना हुआ है।
इस पुल में कुल **8 स्टील स्पैन** हैं, जिनकी संरचना इस प्रकार है:
`1×71.5 मीटर + 5×106 मीटर + 1×71.5 मीटर + 1×30 मीटर`
चुनौतियों के बीच बनी उपलब्धि
इस क्षेत्र की भूगर्भीय जटिलता और जलवायु स्थितियों को ध्यान में रखते हुए पुल को विशेष डिज़ाइन किया गया है। यह घाटी और पहाड़ों के बीच फैला हुआ है, और इसका निर्माण न केवल एक इंजीनियरिंग उपलब्धि है, बल्कि यह क्षेत्रीय संपर्क का भी मजबूत आधार बनेगा।
मुख्य जनसंपर्क अधिकारी कपिंजल किशोर शर्मा ने बताया कि अंतिम स्पैन की स्थापना के साथ ही ब्रिज के सभी खंडों का निर्माण पूरा हो गया है।
उत्कृष्ट निर्माण तकनीक और टीमवर्क का प्रतीक
गर्डर लॉन्चिंग का यह कार्य अत्याधुनिक तकनीकों, सावधानीपूर्वक योजना और पूसी रेलवे की टीम के समर्पण से ही संभव हो पाया। यह भारत के सबसे कठिन और दुर्गम इलाकों में से एक में इंजीनियरिंग उत्कृष्टता का प्रमाण है।
जिरिबाम-इंफाल रेलवे लाइन: भविष्य की कनेक्टिविटी की रीढ़
इस परियोजना का उद्देश्य मणिपुर को देश के बाकी हिस्सों से तेज़, सुरक्षित और टिकाऊ कनेक्टिविटी से जोड़ना है।
* जिरिबाम – खोंगसांग सेक्शन पहले ही सितंबर 2022 में चालू हो चुका है।
* अब अगला लक्ष्य खोंगसांग-नोनी (18.25 किमी) और नोनी-इंफाल (37.02 किमी) सेक्शन को पूरा करना है।
परियोजना के पूर्ण होते ही यह रेलवे लाइन आर्थिक गतिविधियों में वृद्धि , पर्यटन के विस्तार और रोजगार के नए अवसर खोलने में मददगार होगी।
क्षेत्रीय विकास को मिलेगी नई रफ्तार
यह ब्रिज और रेलवे परियोजना न केवल लॉजिस्टिक्स को बेहतर बनाएगी बल्कि यह सामाजिक-आर्थिक विकास की गति को भी तेज करेगी। मणिपुर जैसे सीमांत राज्यों के लिए यह परिवर्तनकारी कनेक्टिविटी का प्रतीक बनेगा।