
शब्दरंग समाचार : भारत द्वारा पाकिस्तान के बहावलपुर में चलाए गए ऑपरेशन सिंदूर के तहत जैश-ए-मोहम्मद (JeM) के मुख्यालय पर किए गए लक्षित हमलों में आतंकी सरगना मसूद अजहर के परिवार पर भारी तबाही टूटी। इस हमले में मसूद अजहर के 10 परिवारजन और 4 करीबी सहयोगी मारे गए। मृतकों में उसकी बड़ी बहन, बहनोई, बेटा, बहू, भतीजे और दो छोटे बच्चे शामिल थे।
ऑपरेशन सिंदूर को भारत ने जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हुई भयावह आतंकी घटना के जवाब में अंजाम दिया था, जिसमें 26 निर्दोष तीर्थयात्री मारे गए थे। भारतीय वायुसेना ने पाकिस्तान और पाकिस्तान अधिकृत कश्मीर (PoK) में स्थित नौ प्रमुख आतंकी ठिकानों को निशाना बनाया। सबसे बड़ा हमला बहावलपुर स्थित जैश-ए-मोहम्मद के ठिकाने मरकज सुब्हान अल्लाह पर हुआ, जहां मसूद अजहर का परिवार रह रहा था।
हमले में मसूद अजहर का भाई और भारत का वांछित आतंकी रऊफ असगर भी गंभीर रूप से घायल हुआ है। भारतीय सुरक्षा एजेंसियों का मानना है कि इस ऑपरेशन ने जैश की कमर तोड़ दी है।
हमले के बाद पाकिस्तानी मीडिया में सामने आए बयान में मसूद अजहर ने कहा, “काश मैं भी मर गया होता। अब मेरे पास खोने के लिए कुछ नहीं बचा।” यह बयान उसके मानसिक आघात और हताशा को उजागर करता है।
भारत सरकार ने इस ऑपरेशन को सख्त लेकिन ज़रूरी जवाब करार दिया है, जबकि पाकिस्तान ने अंतरराष्ट्रीय मंचों पर भारत के खिलाफ विरोध जताया है। वहीं, संयुक्त राष्ट्र और अन्य वैश्विक शक्तियों ने दोनों देशों से संयम बरतने की अपील की है।
पृष्ठभूमि:
मसूद अजहर, जैश-ए-मोहम्मद का संस्थापक, भारत में कई बड़े आतंकी हमलों का मास्टरमाइंड रहा है, जिसमें 2016 का पठानकोट हमला, 2019 का पुलवामा हमला और हालिया पहलगाम हमला शामिल हैं। ऑपरेशन सिंदूर को भारतीय सुरक्षा तंत्र द्वारा अब तक की सबसे सटीक और सफल जवाबी कार्रवाई माना जा रहा है।